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बुधवार, 9 सितंबर 2015

मांड नदी से 1600 हेक्टेयर भूमि पर सिंचाई का लाभ

सिंचाई सुविधा में इजाफा के बाद बहनाटांगर क्षेत्र
में बढ़ेगा मुगंफल्ली, तिलहन और दलहन का रकबा
गुड न्यूज
39 करोड़ की लागत की सुसडेगा व्यवपर्तन योजना को मिली
 हरी झंडी: 6 ग्राम पंचायत के सैकड़ों किसानों को मिलेगा लाभ
रमेश शर्मा/पत्थलगाँव
मांड नदी के तट पर सुसडेगा गांव में किसानों को सिंचाई सुविधा मुहैया कराने के लिए 39 करोड़ रुपयों की लागत से सुसडेगा व्यवपर्तन सिंचाई योजना को हरी झंडी मिल गई है। इस अचंल के किसानों ने सिंचाई साधनों की कमी के संबंध में पिछले दिनो क्षेत्रीय विधायक शिवशंकर साय पैंकरा के समक्ष जोर शोर से मांग उठाई थी। श्री पैंकरा ने सुसडेगा अंचल के किसानों को जल्द ही सिंचाई योजना स्वीकृत कराने का आष्वासन दिया था। सुसडेगा व्यवपर्तन सिंचाई योजना से ग्राम पंचायत बहनाटंागर, केराकछार, करमीटिकरा, किलकिला और सुसडेगा के सैकड़ों किसानों को इस सिंचाई योजना के पूरा हो जाने पर उनकी खेती का काम आसान हो जाएगा। सुसडेगा में स्वीकृत इस सिंचाई योजना से 1600 हेक्टेयर क्षेत्र में किसानों के खेतों में पानी की सुविधा मिल जाने से यहंा पर वर्षा के भरोसे नहीं रहना पड़ेगा।
सुसडेगा के आस पास छः ग्राम पंचायतों में सिंचाई नहरों का जाल बिछ जाने से यहंा भू जल स्तर भी उपर आने की बात कही जा रही है। ग्राम पंचायत बहनाटांगर की महिला सरपंच श्रीमती सम्पति बाई सिदार का कहना था कि इस अचंल की भूमि उपजाउ होने के बाद भी किसानों के पास सिंचाई साधनों की कमी है। इसके चलते ज्यादातर किसान मूँगफल्ली,दलहन और तिलहन फसल की अधिक पैमाने पर उपज नहीं ले पाते हैं। सिंचाई साधनों की कमी से यहंा पर ग्रामीणों को मजदूरी तथा अन्य कार्य करके जीवन यापन करना पड़ता था। उन्होने कहा कि बहनाटांगर में पहले सिंचाई सुविधा के लिए नहरों सं पानी देने की पहल भी हुई थी, लेकिन नहरों का सही रख रखाव नहीं हो पाने से किसानों को वर्षा का पानी पर ही निर्भर रहना पड़ता था।श्रीमती सिदार का कहना था कि यहंा पर सिंचाई का लाभ मिल जाने के बाद किसान अपने खेतों में धान की उपज के अलावा मुंगफल्ली,तिलहन और अन्य फसल लेकर अपनी आर्थिक स्थिति को सुदृढ़ कर सकेंगे।
सरगुजा जिले का सीमावर्ती गांव सुसडेगा के समीप मांड नदी का पानी को किसानों के खेतों तक पहुंचाने के लिए लम्बे अर्से से मांग की जा रही थी। लेकिन इस सिंचाई योजना को शासन से स्वीकृति नहीं मिल पा रही थी। पिछले दिनों विधायक शिवशंकर साय ने गांव गांव और घर घर पहुंचकर जनसम्पर्क करने का कार्यक्रम आयोजित किया तो सुसडेगा, सुरेशपुर, बहनाटांगर क्षेत्र के लोगों ने फिर से सिंचाई सुविधा मुहैया कराने की मांग पर जोर दिया था। सुरेशपुर क्षेत्र की उपजाउ भूति होने के बाद भी यहंा सिंचाई के साधनों की कमी है। इस वजह किसानों को खेती के अलावा मजदूरी का काम करना पड़ता है। अब यहंा सुसडेगा व्यवपर्तन योजना के लिए शासन से 3884.99 करोड़ रुपयों की प्रशासकीस स्वीकृति प्राप्त हो चुकी है। इससे अचंल के सैकड़ों किसानों को खेती के काम में भरपूर लाभ मिलेगा।
सिंचाई के साधनों में होगा इजाफा
संसदीय सचिव व क्षेत्रीय विधायक शिवशंकर साय पैंकरा ने बताया पत्थलगांव क्षेत्र में सिंचाई के साधन बढ़ा कर इस अचंल के किसानों को आत्म निर्भर बनाया जाएगा। उन्होने बताया कि सुसडेगा,बहनाटांगर,किलकिला क्षेत्र में सिंचाई साधनों की कमी को देखते हुए यह व्यवपर्तन सिंचाई योजना किसानों के लिए जीवन दायनी योजना साबित होगी। श्री पैंकरा ने बताया कि पत्थलगांव क्षेत्र के किसानों को लाभान्वित कराने के लिए सिंचाई के साधनों में इजाफा करना बेहद जरूरी है। यहंा सुसडेगा व्यवपर्तन योजना के बाद बुढ़ाडांढ़ क्षेत्र के लिए भी एक और सिंचाई योजना स्वीकृत कराने का प्रयास किया जा रहा है। इन सिंचाई योजना को स्वीकृत कराने के साथ इनका नियत समय के भीतर कार्य पूरा कराने का भी प्रयास रहेगा ताकि किसानों को जल्द लाभ मिल सके। श्री पैंकरा ने कहा कि सुसडेगा व्यवपर्तन सिंचाई योजना मांड नदी तट के किनारे वाले 6 गांव के लोगों के लिए वरदान साबित होगी।
मिल गई प्रशासकीय स्वीकृति
जल संसाधन विभाग के एसडीओ सुनिल कुमार धमिजा ने बताया कि सुसडेगा व्यवपर्तन योजना की प्रषासकीय स्वीकृति का पत्र प्राप्त हो गया है। इस योजना को पूरा करने के लिए निविदा आमंत्रित करने की प्रक्रिया प्रारम्भ कर दी गई है। श्री धमिजा ने बताया कि लगभग 39 करोड़ रूपयों की लागत वाली इस सिंचाई योजना की निविदा हो जाने के बाद जल्द ही काम शुरू करा दिया जाएगा।


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